FASTag एक तरह का इलेक्ट्रोनिक टोल कलेक्शन सिस्टम है और इसके ना होने पर आपको दोगुना टोल टैक्स का भगतां करना पड़ सकता है। हालांकि कई यूजर्स फास्टैग के कारण फ्रॉड के शिकार हो चुके हैं। आज हम आपको कुछ ऐसे ही FASTag Scam के बारे में बताने जा रहे हैं, जिसकी सहायता से कई लोगों को ठगा जा चुका है।
एक मुंबई का व्यक्ति हो चुका Scam का शिकार
आपको बता दे, FASTag एक बहुत आवश्यक सिस्टम है और इसको लेकर समय-समय पर कई यूजर्स को तमाम परेशानी का भी सामना करना पड़ता है। ऐसी ही एक परेशानी मुंबई के एक व्यक्ति को आई। दरअसल, बीते साल जुलाई में 47 साल के एक व्यक्ति को FASTag रिचार्ज कराने में परेशानी आई थी। फास्टैग की इस प्रोब्लम को सॉल्व करने के लिए उसने कस्टमर केयर को कॉल किया। बस, यहीं से साइबर फ्रॉड की शुरुआत हुई। व्यक्ति ने इंटरनेट के माध्यम से मिले नंबर पर कॉल किया था। विक्टिम को इसकी जानकारी बिलकुल नहीं थी कि ऑनलाइन सर्चिंग में मिला नंबर साइबर क्रिमिनल्स का होगा। इसके बाद उसके साथ तकरीबन 2.4 लाख रुपये की साइबर का Scam हो गया।
कर्नाटक का व्यक्ति भी हुआ इस Scam का शिकार
मुंबई की तरह ही कर्नाटक में बीते साल की शुरुआत में FASTag को रिचार्ज कराने में कुछ दिक्कतों का सामना करना पड़ा। इसके बाद उसने इंटरनेट पर कस्टमर केयर का नंबर सर्च कर उसे कॉल किया। असल में इंटरनेट से मिला नंबर साइबर क्रिमिनल्स का था। जिसके बाद साइबर क्रिमिनल्स ने बड़ी ही चालाकी से विक्टिम के बैंक अकाउंट से करीब 1 लाख रुपये उड़ा लिए।
FASTag यूजर्स भूलकर ना करें ये गलती
दरअसल, FASTag से संबंधित किसी भी दिक्कत होने पर अगर आप कस्टमर केयर को कॉल करते हैं, तो वह आपको लॉगइन का प्रोसेस बताता है। इसमें वह आपसे कोई OTP आदि नहीं मांगते हैं। अगर कोई OTP मांगता है तो भूलकर भी उसे कोई OTP शेयर ना करें। ऐसा करने से अधिक संभावना है कि आप साइबर फ्रॉड के शिकार हो सकते हैं।